प्रयागराज में खतरनाक जाम की स्थिति, 15-15 घंटे में गाड़ियों में फंसे लोग
महाकुंभ के लिए लोगों की भक्ति और आस्था इतनी बढ़ गई है की अब प्रयागराज में पैर रखने की भी जगह नहीं है। 300 किलोमीटर पहले से ही पुलिस आम जनता को प्रयागराज नहीं जाने के लिए सचेत कर रही है। भीड़ इतनी ज्यादा बढ़ गई है की अब जाम के कारण लोगों को 10 से 15 घंटे तक अपनी गाड़ी में ही बैठे रहना पड़ रहा है।

महाकुंभ के लिए लोगों की भक्ति और आस्था इतनी बढ़ गई है की अब प्रयागराज में पैर रखने की भी जगह नहीं है। 300 किलोमीटर पहले से ही पुलिस आम जनता को प्रयागराज नहीं जाने के लिए सचेत कर रही है। भीड़ इतनी ज्यादा बढ़ गई है की अब जाम के कारण लोगों को 10 से 15 घंटे तक अपनी गाड़ी में ही बैठे रहना पड़ रहा है। प्रयागराज महाकुंभ आधे से ज्यादा बीत गया। तीनों अमृत स्नान हो चुके।
उम्मीद से कई गुना ज्यादा श्रद्धालु आए
प्रशासन उम्मीद कर रहा था कि अब सीमित संख्या में श्रद्धालु आएंगे, लेकिन पिछले 3 दिनों से उमड़ी भीड़ ने सबको चैंका दिया। प्रयागराज शहर में आने के 7 रास्ते हैं, सभी पर भीषण जाम लगा है। लखनऊ- अयोध्या-प्रतापगढ़ साइड से आने वाली गाड़ियां मलाका से शहर में एंट्री करती हैं। यहीं, बेला कछार में इनकी पार्किंग बनाई गई है।
अखिलेश यादव ने यूपी सरकार को बताया फेल
प्रयागराज में बढ़ती भीड़ और लोगों की परेषानी को देखते हुए समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने ट्वीट करते हुए उत्तरप्रदेश सरकार से कहा की प्रयागराज महाकुंभ में फँसे करोड़ों श्रद्धालुओं के लिए तुरंत आपातकालीन व्यवस्था की जाए। हर तरफ से जाम में भूखे, प्यासे, बेहाल और थके तीर्थयात्रियों को मानवीय दृष्टि से देखा जाए। आम श्रद्धालु क्या इंसान नहीं है?
यादव ने कहा की प्रयागराज में प्रवेश के लिए लखनऊ की तरफ 30 किमी पहले से ही नवाबगंज में जाम, रीवा रोड की तरफ से गौहनिया में 16 किमी पहले से जाम और वाराणसी की तरफ से 12 से 15 किमी के जाम के व ट्रेन के इंजन तक में भीड़ के प्रवेश कर जाने के समाचार हर जगह प्रकाशित हो रहे हैं। आम जन जीवन दूभर हो गया है। उप्र सरकार असफल हो चुकी है। वो अहंकार से भरे झूठे विज्ञापन में ही दिख रही है लेकिन सच में जमीन पर नदारद है।
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